साल 2017 में “गर्विट इनोवेटिव प्रमोटर्स लिमिटेड” नामक कंपनी बनाकर इन आरोपियों ने ‘बाइक बोट स्कीम’ की शुरुआत की। इसमें एक बाइक पर ₹62,100 का निवेश लेकर हर महीने ₹9,765 का रिटर्न देने का वादा किया गया। इस लालच में आकर देशभर के हजारों लोगों ने निवेश कर दिया। कुछ समय बाद रिटर्न आना बंद हो गया और स्कीम फर्जी निकली। लोग ठगी का शिकार हो गए।
इन शातिर आरोपियों के खिलाफ उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्यप्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, हरियाणा, हिमाचल, आंध्रप्रदेश और तेलंगाना समेत कई राज्यों में कुल 200 से अधिक आपराधिक मामले दर्ज हैं। मुख्य आरोपी संजय भाटी पर alone एनआई एक्ट की धारा 138 के तहत ही 1500 से अधिक केस दर्ज हैं।
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अब तक 2800 करोड़ से अधिक की ठगी
पुलिस जांच में खुलासा हुआ है कि इस गिरोह ने अब तक करीब ₹2800 करोड़ की ठगी की है। ईडी ने भी आरोपियों की कई संपत्तियों को अटैच किया है।
2019 में रायपुर के अखिल कुमार बिसोई नाम के व्यक्ति ने सिविल लाइन थाने में शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि बाइक बोट स्कीम में निवेश के नाम पर उनसे और अन्य लोगों से करोड़ों रुपये की ठगी हुई। शिकायत के बाद पुलिस ने धारा 420, 406, 34 भादवि. के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू की।
जांच में सामने आया कि आरोपी फिलहाल केंद्रीय कारागार, भरतपुर (राजस्थान) में बंद हैं। इसके बाद रायपुर पुलिस की टीम वहां पहुंची, प्रोडक्शन वारंट के जरिए तीनों को गिरफ्तार कर रायपुर लाया गया।
संजय भाटी (51), ग्राम चीती, गौतमबुद्ध नगर, उत्तर प्रदेश
करणपाल सिंह (57), मेरठ, उत्तर प्रदेश
राजेश भारद्वाज (58), बुलंदशहर, उत्तर प्रदेश
पुलिस रिमांड पर इनसे पूछताछ जारी है और मामले में और बड़े खुलासों की उम्मीद है। रायपुर पुलिस की इस कार्रवाई को एक बड़ी सफलता माना जा रहा है।
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