संदेश भारत, रायपुर
बिहार की राजनीति में आज का दिन ऐतिहासिक साबित हुआ। मंगलवार (19 अगस्त) को जब कांग्रेस सांसद और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी अपनी ‘वोट अधिकार यात्रा’ के तहत गया से होते हुए नवादा पहुंचे तो वहां महागठबंधन की एकजुटता का बड़ा मंच तैयार हुआ। मंच पर राहुल गांधी के साथ खड़े थे बिहार के नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव, जिन्होंने सभा को संबोधित करते हुए ऐसा बयान दिया जिससे राजनीति गरमा गई।
सभा में भारी भीड़ और नारों के बीच तेजस्वी यादव ने साफ कहा कि अब वक्त आ गया है कि जनता महागठबंधन की सरकार बनाए और राहुल गांधी को देश का अगला प्रधानमंत्री बनाए। तेजस्वी ने आरोप लगाया कि बिहार में गरीबों और हाशिए पर खड़े लोगों का वोट काटा जा रहा है। उन्होंने कहा—
"बीजेपी चुनाव आयोग के साथ मिलकर वोटरों के अधिकार छीन रही है। जिन लोगों को जिंदा होना चाहिए, उन्हें मृत दिखा दिया गया है। यह लोकतंत्र के साथ सबसे बड़ी साजिश है।"
तेजस्वी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चुनौती देते हुए कहा—
"मोदी जी नहीं जानते कि हम बिहारी हैं, एक बिहार सौ पर भारी है। हम चूना को खैनी में रगड़ देते हैं।"
उन्होंने भीड़ से वादा किया कि बिहार को नई दिशा देंगे, जहां जाति-धर्म से ऊपर उठकर हर वर्ग को साथ लेकर विकास किया जाएगा।
इसी दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर भी उन्होंने तंज कसा और कहा कि नीतीश जी अब “अचेत अवस्था” में हैं। बीस साल पुरानी यह सरकार अब थक चुकी है और बिहार जैसे युवा राज्य को नई सोच और नई ऊर्जा की जरूरत है।
नवादा की इस सभा ने यह साफ कर दिया कि राहुल गांधी की ‘वोट अधिकार यात्रा’ केवल कांग्रेस का अभियान नहीं, बल्कि महागठबंधन की ताकत का भी प्रदर्शन है। राहुल जहां बीजेपी और चुनाव आयोग पर सवाल उठा रहे हैं, वहीं तेजस्वी उन्हें प्रधानमंत्री पद का चेहरा बनाकर विपक्षी राजनीति को नई धार दे रहे हैं।
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