संदेश भारत रायपुर l छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट ने मुंगेली जिले के एक सरकारी स्कूल के शिक्षक कीर्ति कुमार शर्मा की अपील को खारिज कर दिया है, जिन्हें नाबालिग छात्राओं से छेड़खानी के आरोप में दोषी ठहराया गया था। शिक्षक ने निचली अदालत के फैसले को चुनौती दी थी, जिसमें उन्हें 2 साल 2 महीने 6 दिन की कैद और जुर्माने की सजा सुनाई गई थी।
HIGHLIGHTS
1 . जिसमें उन्हें 2 साल 2 महीने 6 दिन की कैद और जुर्माने की सजा सुनाई 2 . शिक्षक कीर्ति कुमार शर्मा की अपील को खारिज कर दिया है 3 . नाबालिग छात्राओं से छेड़खानी के आरोप में दोषी ठहराया गया |
यह मामला 2019 का है, जब शिक्षक कीर्ति कुमार शर्मा, जो गणित और अंग्रेजी पढ़ाते थे, बिना अनुमति सातवीं कक्षा में विज्ञान पढ़ा रहे थे। इसी दौरान उन पर छात्राओं के साथ अनुचित हरकतें करने का आरोप लगा।
छात्राओं की शिकायत के बाद जांच की गई, जिसमें पाया गया कि शिक्षक क्लास में छात्राओं के रीढ़ और छाती सहित अन्य संवेदनशील हिस्सों को छूते थे। इसके अलावा, वह स्कूल परिसर में गुटखा और गुड़ाखू का सेवन भी करते थे।
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जांच रिपोर्ट के आधार पर शिक्षक के खिलाफ पुलिस में एफआईआर दर्ज की गई और उन्हें गिरफ्तार किया गया। यह मामला फास्ट-ट्रैक पॉक्सो कोर्ट में चला, जिसने 2 मार्च 2022 को उन्हें दोषी ठहराया।
हाई कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई करते हुए निचली अदालत के फैसले को सही ठहराया। कोर्ट ने कहा कि शिक्षक का पद विश्वास और जिम्मेदारी का होता है और ऐसे अपराध केवल अनुशासनहीनता नहीं, बल्कि पॉक्सो एक्ट के तहत गंभीर दंडनीय अपराध हैं। कोर्ट ने छात्राओं की गवाही को विश्वसनीय मानते हुए शिक्षक की अपील को खारिज कर दिया और निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखा।
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